नई दिल्ली । एक बैंक्विट हॉल में शादी समारोह में आए 9 साल के ऑस्ट्रेलियन बच्चे से कुकर्म का प्रयास किया गया। बच्चे के पिता के शोरमचाने के बाद भीड जमा हो गई और आरोपी को पकडकर पुलिस के हवाले कर दिया गया। यह घटना मसूरी थाना क्षेत्र की है। मसूरी थाना प्रभारी रविंद्र पंत ने बताया कि इस मामले में शिकायत के आधार पर रिपोर्ट दर्ज कर आरोपी को गिरफ्तार किया है।
 मामले में सबूत जुटाए जा रहे हैं जल्द ही आगे की कार्रवाई की जाएगी। अभी तक पता चला है कि आरोपी शादी में आमंत्रित नहीं था वह किसी के साथ आया था। ऑस्ट्रेलिया के एडिलेड में रहने वाला एक परिवार दिल्ली के छतरपुर में एक परिचित के यहां आया हुआ है। वहां से सभी गुरुवार रात एक शादी के कार्यक्रम में शामिल होने मसूरी क्षेत्र स्थित एक बैंक्विट हॉल पहुंचे थे। इस दौरान वहां मौजूद एक शख्स बच्चे को किसी बहाने से अपने साथ बाथरूम में लेकर गया और वहां उसके साथ जबरदस्ती करने का प्रयास किया। अचानक वहां बच्चे के पिता के पहुंच गए और उसे पकड़ लिया। ऑस्ट्रेलियाई नागरिक ने पुलिस को बताया कि शादी के कार्यक्रम में एक व्यक्ति उनके बेटे के आसपास घूम रहा था। ऐसे में उनकी नजर भी उस पर थी लेकिन बच्चा शादी को एंजॉय कर रहा था तो वह सिर्फ नजर रख रहे थे।
 इस दौरान उन्होंने देखा कि आरोपी उनके बेटे को बाथरूम की तरफ लेकर गया। जहां वह उसके साथ गलत हरकत का प्रयास कर रहा था। उन्होंने यह देखकर शोर मचाया तो शादी में मौजूद लोग इकट्ठा हुए और उन्होंने आरोपी को पकड़ लिया। पुलिस के अनुसार आरोपी की पहचान मेरठ के रहने वाले निशांत के रूप में हुई है। इसके बारे में अन्य जानकारी निकाली जा रही है। पकड़े जाने पर उसने पहले पुलिस को बताया कि वह बच्चे को टॉयलेट करवाने के लिए लेकर गया था। छोटे बच्चों के साथ बढ़ते अपराध खौफनाक होती दुनिया की ओर इशारा कर रहे हैं। बच्चों से छेड़छाड़ रेप मारपीट हत्या…- देश की राजधानी में भी रोजाना ये मामले बढ़ते जा रहे हैं। बचपन घबराया हुआ है।
 बच्चों के अधिकारों पर काम करने वाले विशेषज्ञों का कहना है कि बच्चे सुरक्षित नहीं उन्हें घेरने वाले उनके पहचान वाले हैं अनजान भी हैं। बच्चे मानसिक तौर पर बीमार हो रहे हैं चाहे डर से या दुस्साहस से। विशेषज्ञों का कहना है कि बदलता समाज सिस्टम की गंभीर खामियां परिवार की लापरवाही-मजबूरी और सबसे बड़ी वजह गिरता शिक्षा का स्तर इन सभी कड़ी पर तुरंत और चुस्त काम ही अपराध के मामलों को विराम दे पाएगा और मासूम बचपन बेखौफ हो सकेगा। बच्चों के साथ रेप सेक्सुअल हैरसमेंट के बढ़ते मामलों को लेकर माता-पिता उनकी सुरक्षा को लेकर डरे हुए हैं।