वैशाख माह की पूर्णिमा को भगवान बुद्ध का जन्म हुआ था. इसलिए इसे बुद्ध पूर्णिमा भी कहा जाता है. इस साल बुद्ध पूर्णिमा 16 मई को है. बुद्ध पूर्णिमा का दिन बौद्ध धर्म के अनुयायियों के लिए सबसे बड़ा उत्सव तो होता ही है. इसके अलावा हिंदू धर्म के लोगों के लिए भी ये पर्व काफी महत्वपूर्ण माना जाता है. हिंदू धर्म ग्रंथों के अनुसार, गौतम बुद्ध भगवान विष्णु के नौवें अवतार माने जाते हैं. बौद्ध धर्म के संस्थापक गौतम बुद्ध महानतम आध्यात्मिक गुरुओं में से एक थे. भगवान बुद्ध ने पूरी दुनिया को करुणा सहिष्णुता के मार्ग के लिए प्रेरित किया. उनके द्वारा दिए गए उपदेश, संदेश विचार मनुष्यों को नैतिक मूल्यों के अलावा संतोष पर आधारित जीवन जीने की दिशा में प्रयास करने के लिए प्रेरित करते हैं. ऐसे में चलिए बुद्ध पूर्णिमा के अवसर पर जानते हैं भगवान बुद्ध के द्वारा दिए गए कुछ उपदेशों के बारे में.

1. अपने मोक्ष के लिए खुद ही प्रयत्न करें. दूसरों पर निर्भर ना रहें.

2. क्रोध में हजारों शब्दों को गलत बोलने से अच्छा, मौन वह एक शब्द है जो जीवन में शांति लाता है.

3. आपके पास जो कुछ भी है उसे बढ़ा-चढ़ा कर मत बताइए ना ही दूसरों से ईर्ष्या कीजिए.

4. बुराई से बुराई कभी खत्म नहीं होती. घृणा को तो केवल प्रेम द्वारा ही समाप्त किया जा सकता है, यह एक अटूट सत्य है.

5. जैसे मोमबत्ती बिना आग के नहीं जल सकती, मनुष्य भी आध्यात्मिक जीवन के बिना नहीं जी सकता.

6. क्रोध को पाले रखना गर्म कोयले को किसी पर फेंकने की नीयत से पकड़े रहने के सामान है, इसमें आप ही जलते हैं.

7. इंसान की बुराई होनी चाहिए ताकि अच्छाई उसके ऊपर अपनी पवित्रता साबित कर सके.